
बोर्ड द्वारा नतीजे न घोषित करने के कारण फौज में भर्ती नहीं हो सकेंगे प्रदेश के हजारों विद्यार्थी: हरपाल सिंह चीमा
पंजाब स्कूल शिक्षा बोर्ड के चेयरमैन को मिले हरपाल सिंह चीमा व कुलतार सिंह संधवां
10वीं ओपन स्कूल के नतीजे तुरंत घोषित करने की मांग की
नबज़-ए-पंजाब ब्यूरो, मोहाली, 13 अगस्त:
आम आदमी पार्टी (आप) पंजाब ने पंजाब स्कूल शिक्षा बोर्ड द्वारा अभी तक 10वीं ओपन क्लास के विद्यार्थियों का नतीजा न घोषित करने का मामला पंजाब सरकार के पास उठाया है, क्योंकि ऐसा न होने से हजारों विद्यार्थियों का भविष्य धुंधला हो रहा है। मामले की गंभीरता को समझते हुए ‘आप’ के सीनियर नेता और नेता प्रतिपक्ष हरपाल सिंह चीमा और विधायक कुलतार सिंह संधवां ने वीरवार को यहां पंजाब स्कूल शिक्षा बोर्ड के चेयरमैन डा. योगराज सिंह के साथ मुलाकात दौरान यह मुद्दा उठाया और अपील की है कि जितनी जल्दी हो सके बच्चों के नतीजे घोषित किए जाएं, जिससे इन में बहुत से विद्यार्थी इसी माह 30 अगस्त को हो रही भारतीय फौज की भर्ती में हिस्सा ले सकें।
इस मौके हरपाल सिंह चीमा ने आंकड़े पेश करते कहा कि पंजाब के 10वीं ओपन क्लास के कुल 31,000 विद्यार्थी हैं। हर साल प्रति विद्यार्थी 15,000 हजार रुपए फीस अदा करता है। जिसके हिसाब से कुल 46 करोड़ 50 लाख रुपए बोर्ड /सरकार की तरफ से इक_ा किया जाता है, परंतु इतना पैसा इक_ा करने के बावजूद सरकार अपनी जिम्मेदारी से भाग रही है।
‘आप’ नेताओं हरपाल सिंह चीमा और कुलतार सिंह संधवां ने कहा कि दसवीं ओपन क्लास के विद्यार्थियों का नतीजा अभी तक ऐलान नहीं किया है, जबकि 12वीं, बी.ए, एम.ए. और सभी प्रदेशों के ही ओपन क्लास के नतीजे पहले ही ऐलान कर दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि ओपन क्लास में पढ़ते गरीब और मजदूर परिवारों के बच्चे मजदूरी के साथ-साथ पढ़ाई भी करते हैं और फीसें भी देते हैं।
हरपाल सिंह चीमा और कुलतार सिंह संधवां ने कहा कि फौज में भर्ती होने के इच्छुक इन विद्यार्थियों का एक प्रतिनिधिमंडल पार्टी विधायक प्रो. बलजिन्दर कौर को मिला है। उन्होंने बताया कि बोर्ड की तरफ से अभी तक नतीजे न घोषित करने के कारण जिन बच्चों ने अपनी 10वीं की पढ़ाई के बाद फौज में भर्ती होना था, वह अब नहीं हो सकते क्योंकि भारत सरकार द्वारा भारतीय सेना में भर्ती की अंतिम तिथि 30 अगस्त निर्धारित कर दी गई है, परंतु यदि पंजाब सरकार की तरफ से दसवीं ओपन क्लास के विद्यार्थियों का नतीजा तुरंत न घोषित किया गया तो जो विद्यार्थी देश की सेवा के लिए समर्पित हैं, वह अब फौज की भर्ती में हिस्सा नहीं ले सकते। चीमा ने इस सम्बन्धित शिक्षा मंत्री पंजाब को भी पत्र लिखा है।